हमारे देश की आर्थिक व्यवस्था को मजबूत और सशक्त बनाने का माध्यम है बैंक। बैंक सरकारी और प्राइवेट दोनों तरह के होते हैं। देश की आर्थिक व्यवस्था को प्रगति की ओर ले जाने में बैंक बहुत ही महत्वपूर्ण भूमिका निभाते हैं। हाल ही में कोरोना काल में सभी ऑनलाइन बैंकिंग अर्थात पेटीएम (paytm),जीपे (Gpay) आदि से रूबरू हो चुके हैं। ऑनलाइन बैंकिंग भी अब एक साधारण बात बन चुकी है।
पैसों के लेनदेन, अकाउंट खोलना ,पैसा जमा कराना, राशि(amount) एक जगह से दूसरी जगह भेजना आदि काम बैंक बड़े ही आसानी और सुचारू रूप से कार्यान्वित करते हैं। पर कई बार बैंकिंग की सेवाओं का उपयोग करते समय बहुत ही मुश्किलों का सामना करना पड़ता है। कई बार यह मुश्किलें आसान होकर हल हो जाती है पर कभी-कभी समस्या इतनी बढ़ जाती है कि ग्राहकों/ खाता धारको को बैंक के खिलाफ शिकायत दर्ज करनी पड़ती है।
अब प्रश्न यह आता है कि बैंक की शिकायत कहां करनी है?, कैसे करनी है?, क्या-क्या पेपर देने पड़ते हैं? आदि, जिससे हमारी समस्या आसानी से सुलझ जाए।
वैसे भी ग्राहक/ खाताधारक अपने बैंक से दी जाने वाली सुविधाओं से संतुष्ट ना हो तो भी वह किसी भी सरकारी या प्राइवेट बैंक के खिलाफ शिकायत दर्ज कर सकता है। शिकायत ऑनलाइन और ऑफलाइन दोनों ही रूपों में की जा सकती है।ऑफलाइन शिकायत में आपको अपनी शिकायत लिखित रूप में और उससे संबंधित पेपर/ दस्तावेज भी जमा कराना होता है ।
ऑनलाइन (online) शिकायत(complaint)
यदि आपको ऑनलाइन बैंकिंग में किसी प्रकार की समस्या हो रही है तो आप इस स्थिति में RBI के माध्यम से अपनी समस्याओं के लिए शिकायत दर्ज करवा सकते हैं। बैंक अपने ग्राहकों को बहुत सारी सुविधाएं ऑनलाइन या यू कहे घर बैठे ही दे रहे हैं उस में मुख्य रूप से होने वाली समस्याओं की लिस्ट इस प्रकार है:
- एक खाते से दूसरे खाते में राशि का ना आना जाना
- इंटरनेट बैंकिंग में खाता(account)का न खुलना
- पासवर्ड भूल जाना
- बैंक द्वारा जारी नोटिफिकेशन में देरी
- मोबाइल बैंकिंग में असुविधा
- एटीएम (ATM) संबंधित समस्या
- बैंकिंग सेवाओं से संबंधित कोई अन्य असुविधा
बैंक में ऑनलाइन न शिकायत करने की प्रक्रिया
- घर बैठे ऑनलाइन माध्यम से भी आप किसी भी बैंक की शिकायत RBI के माध्यम से आसानी से कर सकते हैं।
- ऑनलाइन शिकायत दर्ज कराने के लिए आपको
- https://cmc.rbi.org.in पर क्लिक करना होगा।
- आप इस लिंक पर क्लिक करेंगे तो होम पेज खुलेगा वही आपको अपनी शिकायत दर्ज करनी होगी और शिकायत संबंधित पेपर/ दस्तावेज को अपलोड करना होगा।
- आप अपनी शिकायत भेजते हैं, सेंड कर देते हैं तो निर्धारित समय में आपकी समस्या को सुलझा दिया जाता है ।
- आप अपनी शिकायत दर्ज कराने के लिए ईमेल भी भेज सकते हैं पर उसमें थोड़ा ज्यादा समय लग सकता है।
ऑफलाइन (offline) बैंकों की शिकायत दर्ज करने की प्रक्रिया(process)
- इस प्रक्रिया में आपको अपनी शिकायत को पेपर में लिखित रूप में संबंधित बैंक में बैंक अध्यक्ष या अधिकारी के पास दर्ज करानी होती है।
- लिखित पेपर/ हार्ड कॉपी के साथ आपको अपनी शिकायत के प्रूफ के संबंधित पेपर्स भी जमा कराने होते हैं।
- बैंक अधिकारी से आप शिकायत की रसीद ले ले जिससे अगर समस्या ना सुलझे तो आप बता सकते हैं कि आपने पहले भी शिकायत की है और उसी आधार पर आप रिमाइंडर भी भेज सकते हैं।
लिखित रूप में शिकायत दर्ज करें:
अगर आपको बैंक द्वारा कोई सुविधा नहीं मिल पा रही है और उसकी वजह से समस्या हो रही है तो आप बैंकिंग सेल में जाकर लिखित रूप में अपनी शिकायत दर्ज करवा सकते हैं। लिखित पेपर में -आपको क्या परेशानी हो रही है, किस वजह से हो रही है, कितने दिनों से हो रही है, किसी कर्मचारी की वजह से हो रही हो आदि जानकारी जरूर लिखें जिससे समस्याओं को सुलझाने में आसानी हो सके।
टोल फ्री नंबर पर शिकायत दर्ज कराएं
सभी बैंकों मे ग्राहको / खाताधारको को हो रही असुविधा के लिए टोल फ्री नंबर दिया जाता है ।जहां आप अपनी शिकायत दर्ज करवा सकते हैं। शिकायत दर्ज करने के बाद मिलने वाला आईडी (ID)नंबर नोट कर ले ताकि आपके पास शिकायत का पेपर रहे।
टोल फ्री नंबर पर की गई शिकायत का जल्द ही निवारण कर दिया जाता है।
बैंकों की वेबसाइट में शिकायत दर्ज कराएं?
सभी प्रकार के बैंकों की एक वेबसाइट जरूर होती है जहां पर आप अपनी शिकायत दर्ज कर सकते हैं। शिकायत दर्ज करने के 1 सप्ताह के भीतर ही बैंक अधिकारी आपसे संपर्क करके, शिकायत समझ कर जल्दी से मामला सुलझा दिया जाता है। शिकायत दर्ज करने के बाद आपको थोड़ा समय बैंक को देना पड़ता है ताकि वह अंदरूनी जांच पड़ताल करके आपको संतुष्टिप्रद जवाब दे सकें ।
बैंकों में शिकायत दर्ज कराने के बाद की प्रक्रिया :
आपने बैंक में शिकायत दर्ज कराई और निर्धारित समय तक जवाब ना मिला हो, समस्या ना सुलझी हो तो आप शिकायत के बारे में संबंधित बैंक को एक अनुस्मारक(reminder) भेजकर जानकारी ले सकते हैं। यदि एक महीने बाद भी आपकी शिकायत सुलझ नहीं रही हो तो आप Banking Ombudsman के पास अपनी शिकायत भेजें। जहां आपकी समस्या को जल्दी से सुलझाने का प्रावधान रखा गया है।Banking Ombudsman के माध्यम से आप समस्या को जल्द से जल्द सुलझाने की अर्जी भी दे सकते हैं।Banking Ombudsman के आफिस ज्यादातर राज्यो की राजधानी मे होते है।
बैंकिंग लोकपाल क्या होता है?
बैंकिंग लोकपाल योजना 2006 में भारतीय बैंकों के ग्राहकों की शिकायत एवं समस्याओं को सुलझाने के लिए प्रारंभ की गई एक योजना है। इस योजना में एक बैंकिंग लोकपाल की नियुक्ति की जाती है जो ग्राहकों या खाताधारकों की किसी भी प्रकार की शिकायत को सुलझाने का जिम्मा लेता है। बैंकिंग लोकपाल का प्रयास रहता है कि शिकायत को दूर करना, समस्या के अनुरूप समाधान खोजना और भविष्य में ऐसी शिकायत ना हो इसका ध्यान रखना।
बैंकिंग लोकपाल में शिकायत कैसे दर्ज करें?
कई बार ग्राहकों/ खाताधारकों को बैंकों द्वारा दी जाने वाली सुविधाओं से वंचित रहना,उनकी शिकायत पर ध्यान ना देना आदि समस्याएं होने पर बैंकिंग लोकपाल में जाकर शिकायत दर्ज करवा सकते हैं। बैंकिंग लोकपाल समस्याओं से जल्दी राहत दिलाने में कारगर है। बैंकिंग लोकपाल में आप लिखित रूप /हार्ड कॉपी में शिकायत दर्ज करा सकते हैं, टोल फ्री नंबर पर भी शिकायत दर्ज करा सकते हैं, बैंक की वेबसाइट पर भी शिकायत दर्ज करा सकते हैं।
बैंकिंग लोकपाल में शिकायत करते वक्त किन बातों का ध्यान रखें?
बैंकिंग लोकपाल मे शिकायत दर्ज करने से पहले जांच लें आपकी शिकायत मान्य है या नहीं ,आपने अपनी शिकायत की पूरी तरह से जांच पड़ताल की है या नहीं ।अगर शिकायत सही नहीं निकली तो शिकायतकर्ता को दंडित भी किया जा सकता है। बैंकिंग लोकपाल में शिकायत करने से पहले बैंकिंग सेल में शिकायत करें और 30 दिनों का समय दें, समस्या को सुलझाने के लिए। निर्धारित समय में समस्या ना सुलझने पर बैंकिंग लोकपाल की तरफ रुख करें अन्यथा नहीं।
बैंकिंग लोकपाल में शिकायत दर्ज करने के कुछ मामले :
- आप बैंकिंग लोकपाल के माध्यम से शिकायत दर्ज करना चाहते हैं तो आपको निम्नलिखित कारणों से ही शिकायत को दर्ज करना होगा।
- किसी भी प्रकार के चेक, बिल या ड्राफ्ट के भुगतान या जमा में होने वाली परेशानी को सुलझाने के लिए बैंकिंग लोकपाल के समक्ष शिकायत दर्ज करवा सकते हैं।
- आरबीआई (RBI) द्वारा निर्धारित फीस या शुल्क से ज्यादा आप से वसूला जाता है तो आप शिकायत दर्ज करा सकते हैं।
- शिकायत करने के बाद भी समस्या का निवारण नहीं हो रहा है तो बैंकिंग लोकपाल के समक्ष शिकायत दर्ज करवा सकते हैं।
- आरबीआई द्वारा आदेश/ निर्देश जारी करने के बाद भी ब्याज दर को कम नहीं किया गया या ब्याज दर नहीं बढ़ाई हो। ऐसी स्थिति में आप बैंकिंग लोकपाल के पास शिकायत दर्ज कर सकते हैं।
- यदि बैंक द्वारा बिना किसी कारण के लोन आवेदन को नामंजूर किया गया हो तब भी आप बैंकिंग लोकपाल में शिकायत दर्ज कर सकते हैं
- यदि किसी बैंक द्वारा डिपॉजिट खाता खोलने पर आपत्ति जताई हो।तब भी आप बैंकिंग लोकपाल के पास शिकायत दर्ज कर सकते है।
निष्कर्ष
यदि आप बैंकिंग लोकपाल के फैसले से सहमत नहीं होते हैं और आपकी समस्या सुलझती नहीं है तो आप 30 दिनों के अंदर ही किसी भी माननीय बैंक अधिकारी के समक्ष शिकायत दर्ज कर सकते हैं। आप कंजूमर कोर्ट/फोरम में भी अपनी शिकायत दर्ज करवा सकते है।
मैं सुभाष पुत्र जालिम ग्राम कुडवा उर्फ दिलीप नगर जिला कुशीनगर का स्थाई निवासी हूं मेरा यूपी बडौदा बैंक शाखा मल्लूडीह में खाता संख्या 3089070949 है मेरा आधार कार्ड 443112513884 है जबकि मेरा आधार किसी अन्य व्यक्ति के बैंक खाते में फीड कर दिया गया है जिससे मेरी नरेगा मजदूरी व किसान सम्मान निधि आधार बेस पेमेंट में उस व्यक्ति के खाते में जा रहा है जांच कर आवश्यक कार्रवाई करने की कृपा करें
bank me jakar shikayat kijiye